Uttarakhand News 08 July 2024: मूसलाधार बारिश से नैनीताल में जनजीवन अस्त-व्यस्त हो गया है। बीते 24 घंटों में नैनीताल में 200 मिमी बारिश दर्ज की गई है

मूसलाधार बारिश से नैनीताल में जनजीवन अस्त-व्यस्त हो गया है। बीते 24 घंटों में नैनीताल में 200 मिमी बारिश दर्ज की गई है। जगह-जगह मलबा आने से जिले में 21 सड़कें बंद हैं जिन्हें खोलने का काम जारी है। नैनीताल को जोड़ने वाले तीनों मार्गों पर भी रुक-रुककर पत्थर और मलबा गिरने से लोगों को दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है।

नैनीताल-हल्द्वानी मार्ग पर हनुमानगढ़ी के पास पूरे दिन मलबा और पत्थर गिरते रहे। वहीं नैनीताल-कालाढूंगी रोड पर मंगोली के पास पेड़ गिरने से यातायात बाधित रहा। इधर नैनीताल-भवाली मार्ग पर पाइंस के पास पत्थर गिरते रहे। लोनिवि के सहायक अभियंता जीएस जनौटी ने बताया कि क्षेत्र के मुख्य मार्गों में जेसीबी लगाई गई हैं। बारिश से झील का जलस्तर चार फीट से बढ़कर पांच फीट आठ इंच पहुंच गया है।

इधर पेड़ गिरने से मेहरागांव पाइंस की 33 किलोवाट की लाइन रेहड़-भवाली के जंगल में टूट गई है। विभाग ने तल्लीताल क्षेत्र को सूखाताल से जोड़ने का प्रयास किया लेकिन ठंडी सड़क पर 33 और 11 किलोवाट की लाइन में पेड़ गिरने से बिजली की लाइन टूट गई है। वहीं शहर के मेविला कंपाउंड में पेड़ गिरने से लाइन क्षतिग्रस्त हो गई जिसके चलते तल्लीताल और आसपास के क्षेत्र में शनिवार की रात से बिजली आपूर्ति ठप है। एसडीओ प्रियंक पांडे ने बताया कि सभी जगहों पर टीम लाइनों की मरम्मत में जुटी हुई है।

बोल्डर गिरने से देवीधुरा-बसानी मार्ग बंद
नैनीताल-बसानी मार्ग भारी बरसात के चलते कई स्थानों पर क्षतिग्रस्त हो गया है। कई स्थानों में बोल्डर गिरने से मार्ग वाहनों के लिए बंद हो चुका है। बारिश के दौरान सड़क में मलबा व पत्थर गिरने का खतरा बना हुआ है। इसके चलते स्थानीय लाेगों को दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है। पीएमजीएसवाई के अधिशासी अभियंता मनोज कुमार ने बताया कि मलबे को हटाने के लिए दो जेसीबी तैनात की गई हैं।

चार्टन लॉज में भूस्खलन का खतरा बरकरार
चार्टन लॉज क्षेत्र में भूस्खलन की रोकथाम के लिए प्रशासन की ओर से तिरपाल लगा दी गई है लेकिन अब भी क्षेत्र में भूस्खलन का खतरा बरकरार है। तिरपाल से ढकने के बाद भी मलबा गिर रहा है जिससे स्थानीय लोगों में भय का माहौल है। वहीं अनहोनी की आशंका के मद्देनजर एसडीआरएफ तत्पर है।
बीते शनिवार को भूस्खलन के चलते लगाई गई अस्थायी दीवार टूट गई है। दीवार टूटने और मलबा गिरने से ऊपर स्थित 20 से ज्यादा भवन एक बार फिर खतरे की जद में आ गए हैं। प्रभावित लोग प्रशासन से जल्द से जल्द स्थायी उपचार की मांग कर रहे हैं। एसडीएम प्रमोद कुमार ने बताया कि क्षेत्र को फिलहाल पानी से बचाने के लिए तिरपाल डाली गई है। साथ ही क्षेत्र में टीम लगातार नजर रखे हुए है। बारिश रुकने के बाद ही सुरक्षा के अन्य उपाय किए जाएंगे।

इधर मल्लीताल राजमहल कंपाउंड क्षेत्र में बीते दिवस बारिश के दौरान एक सुरक्षा दीवार टूट गई थी जिससे नीचे बने भवन को खतरा हो गया था। रविवार को जिला प्रशासन की टीम ने क्षेत्र का निरीक्षण किया। एसडीएम प्रमोद कुमार ने बताया कि भवन स्वामी को जल्द से जल्द दीवार का निर्माण कर नीचे के भवन को सुरक्षित करने के निर्देश दिए गए हैं।

अल्मोड़ा हाईवे पर मलबे ने रोकी वाहनों की रफ्तार
गरमपानी, पहाड़पानी, भीमताल में तेज बारिश की वजह से शनिवार देर शाम सात बजे से बंद भवाली-अल्मोड़ा एनएच करीब साढ़े 12 घंटे बाद रविवार की सुबह 7:30 बजे खोला जा सका। रविवार को गरमपानी-झूलापुल के पास मलबा आने से एसडीएम वीसी पंत ने यातायात रुकवा दिया। वाहनों को अल्मोड़ा, रानीखेत की ओर से आने वाले वाहनों को क्वारब-नथुवाखान-रामगढ़ होते हुए भवाली को भेजा। वहीं हल्द्वानी से आने वाले वाहनों को भवाली-रामगढ़ होते हुए क्वारब की ओर डायवर्ट किया।

इधर ओखलकांडा के नाई-भीड़ापानी मोटर मार्ग पर कीचड़ होने से फंसी बस और छोटे वाहनों को निकालने के लिए जेसीबी की मदद ली गई। क्षेत्र के पप्पू नयाल, संजय सिंह नयाल, वीरेंद्र सिंह, राजेंद्र सिंह ने बताया कि ठेकेदार की ओर से काॅजवे, कलमठों को सही से नहीं खोला गया है जिस वजह से सड़क पर अधिक मात्रा में कीचड़ एकत्र हो रहा है।

वहीं धारी एसडीएम केएन गोस्वामी ने बताया कि बारिश से महतोलिया गांव में एक मकान को नुकसान पहुंचा है जिसकी रिपोर्ट भेजी जा रही है। मौना-कालापाथर के पास सड़क के धंसने से मार्ग पर आवाजाही रोकी गई है। बेतालघाट ब्लॉक में रामनगर-ओखलढूंगा मार्ग पर जगह-जगह मलबा आने से कई वाहन फंस गए। रामनगर-गर्जिया मार्ग, भुजान मोटर मार्ग, बलवंत सिंह मोटर मार्ग पर भी मलबा आने से यातायात बंद है। वहीं भतरौजखान मार्ग पर पत्थर गिरने से वाहन चालकों को परेशानियों का सामना करना पड़ा। इधर भीमताल में सलड़ी के हरीनगर में आंबेडकर सड़क पर पहाड़ी पर लगा बिजली का टावर भूस्खलन के चलते खतरे की जद में आ गया है। समाजसेवी रमेश पलड़िया ने बताया कि टावर के गिरने का खतरा बना हुआ है।

पन्याली नाले किनारे बसे ग्रामीण खतरे की जद में
रामनगर मोहान के पन्याली नाले से हो रहे भू-कटाव के कारण कई ग्रामीण खतरे की जद में है। मोहान-भतरौजखान मार्ग पर पन्याली नाले पर बना पुल बहने से अब भू-कटाव होने लगा है। स्थानीय लोगों ने भाजपा प्रदेश मंत्री राकेश नैनवाल को ज्ञापन देकर सुरक्षा की मांग की है। प्रदेश मंत्री ने बताया कि उन्होंने केंद्रीय सड़क राज्यमंत्री अजय टम्टा से फोन पर समस्या के समाधान के लिए वार्ता की है। ज्ञापन देने वालों में नंदकिशोर, त्रिलोक राम, ख्याली राम, हरीश चंद्र, राजेन्द्र कुमार, तुलसी देवी, रीता, गुड्डी देवी आदि शामिल रहे।
इधर नदी-नालों के उफान पर आने से गर्जिया देवी मंदिर की तलहटी में कोसी नदी का जलस्तर बढ़ गया है। प्रशासन की ओर से वहां से प्रसाद विक्रेताओं को हटाया गया। दूसरी ओर पुलिस ने सुंदरखाल, गर्जिया, देवीचौड़ व पूछड़ी क्षेत्र में नदी किनारे रहने वाले लोगों को सतर्क किया। तहसीलदार कुलदीप पांडेय ने बताया कि प्रशासन की ओर से सतर्कता बरती जा रही है। राजस्व उपनिरीक्षकों को अलर्ट रहने को कहा गया है। वहीं रामनगर-क्यारी मार्ग पर एक विशाल पेड़ गिरने से यातायात बाधित हो गया। अग्निशमन अधिकारी उमेश परगाई ने बताया कि पेड़ को काटकर यातायात सुचारु कराया गया।

शेर और सूर्या नाला उफनाए, 12 घंटे ठप रहा यातायात
चोरगलिया में जलस्तर बढ़ने से शेर और सूर्या नाला उफान पर आने से इस मार्ग पर यातायात करीब 12 घंटे बढ़ रहा। थानाध्यक्ष भुवन राणा के नेतृत्व में पुलिस टीम दोनों नालों के छोरों जुटी रही। खबर लिखे जाने तक यातायात सुचारु नहीं हो सका था। वहीं नंधौर नदी में बाढ़ आने से डायवर्जन का कार्य बह गया है। नदी से दूबेलभीड़ा और आमखेड़ा क्षेत्र में भू-कटाव हो रहा है। मछली वन क्षेत्र में नंधौर खतरे के निशान के ऊपर बह रही है। बाढ़ से नदी किनारे रह रहे परिवार डरे-सहमे हैं।

भूस्खलन से मकान क्षतिग्रस्त
कोटाबाग के पर्वतीय क्षेत्रों में बारिश आपदा बनकर बरस रही है। कोटाबाग विकासखंड के रियाड़ ग्रामसभा के अंतर्गत मल्ला सानणा में संतोष कुमार का घर भारी बारिश के बाद हुए भूस्खलन के कारण क्षतिग्रस्त हो गया है। ग्राम प्रधान रियाड़ नवीन जोशी एवं समाजसेवी चंदू सनवाल की सूचना पर राजस्व उप निरीक्षक यशपाल बिष्ट ने मौका मुआयना किया। राजस्व उप निरीक्षक ने बताया कि फिलहाल पीड़ित परिवार को एक व्यक्ति के घर में अस्थायी तौर पर जगह दी गई है। नुकसान की रिपोर्ट उच्चाधिकारियों को भेजी जाएगी, जल्द ही पीड़ित को मुआवजा दिलाया जाएगा। —

रामगढ़ से मुक्तेश्वर के गांवों में गुल रही बिजली
भवाली, मुक्तेश्वर में बारिश और तेज हवाएं चलने से बिजली की लाइनों के क्षतिग्रस्त होने के कारण रामगढ़ और मुक्तेश्वर के कई गांवों में बिजली गुल हो गई। ग्रामीणों को अंधेरे में रात काटनी पड़ी। ऊर्जा निगम की जेई निकिता बिष्ट ने बताया कि भलाड़ क्षेत्र में लाइनों के क्षतिग्रस्त होने से तीन ट्रांसफरों की सप्लाई बंद की गई है। जल्द ही लाइनों की मरम्मत कराकर आपूर्ति बहाल करा दी जाएगी। इधर जेई नवीन चंद्र ने बताया कि घोड़ाखाल और महेशखान में विद्युत लाइनों पर पेड़ गिरने से लाइनें टूट गई है। सोमवार को लाइनों को सही कराया जाएगा।

ढेला, झिरना व गर्जिया में नहीं हुई सफारी
रामनगर में तेज बारिश होने के कारण कॉर्बेट पार्क के ढेला, झिरना और गर्जिया जोन रविवार को पर्यटकों के लिए पूरे दिन बंद रहे। कॉर्बेट पार्क के उपनिदेशक दिगांथ नायक ने बताया कि पर्यटकों की सुरक्षा के मद्देनजर तीनों जोन को बंद करने का निर्णय लिया गया है। बता दें कि मानसून सीजन में सिर्फ ढेला, झिरना और गर्जिया जोन में जंगल सफारी होती है लेकिन अत्यधिक बारिश होने पर समय-समय पर इन जोन को बंद कर दिया जाता है।
आपदा से प्रभावित क्षेत्रों का दौरा, सतर्कता की अपील
रामनगर में प्रशासन की टीम ने आपदा प्रभावित क्षेत्रों का निरीक्षण किया। एसडीएम राहुल शाह के नेतृत्व में टीम ने आपदा से प्रभावित क्षेत्र गर्जिया मंदिर, धनगढ़ी नाला, मोहन-रानीखेत क्षतिग्रस्त पुल, चुकूम, कोसी नदी से लगता पूछड़ी क्षेत्र एवं मालधनचौड़ का निरीक्षण किया। एसडीएम ने रेड अलर्ट के मद्देनजर स्थानीय लोगों से नदी, नालों और अन्य संवेदनशील क्षेत्रों में जाने से बचने की अपील की है। साथ ही एनएच डिविजन को धनगढ़ी नाले के पास जेसीबी अलर्ट मोड पर रखने के निर्देश दिए। टीम में तहसीलदार रामनगर कुलदीप पांडे, एई सिंचाई मयंक मित्तल, राजस्व उपनिरीक्षक रामनगर राहुल आर्या, गोविंद अधिकारी आदि थे।

बिंदुखत्ता क्षेत्र में भू-कटाव से, तटबंध क्षतिग्रस्त
लालकुआं में मूसलाधार बारिश के कारण गाैला नदी से बिंदुखत्ता के कई क्षेत्रों में भारी भू-कटाव हो रहा है। कई जगहों पर तटबंध क्षतिग्रस्त हो गए हैं। इंदिरा नगर और खुरियाखत्ता के ग्रामीणों ने प्रशासन से स्थायी तटबंध बनाने की मांग की है। कांग्रेस ब्लॉक अध्यक्ष पुष्कर सिंह दानू और भाकपा माले जिला सचिव कैलाश पांडे ने कहा कि यदि जल्द ही स्थायी तटबंध नहीं बनाए गए तो क्षेत्र के बड़े हिस्से को नुकसान पहुंच सकता है।